‘एक कदम गांधी के साथ पदयात्रा’ कानपुर – औरैया बॉर्डर पर पहुंची – पदयात्रा का 28वां दिन

कानपुर देहात, उत्तर प्रदेश
29 अक्टूबर 2025

आज एक कदम गांधी के साथ पदयात्रा की शुरुआत सुबह 8 बजे वृंदावन गार्डन से हुई। कुछ दूरी पर स्थित डॉ. बाबा साहेब भीमराव आंबेडकर की प्रतिमा पर माल्यार्पण किया गया। इसके बाद यात्रा अपने गीतों और नारों के साथ आगे बढ़ी।

दोपहर 12 बजे यात्रा बिहारी गांव पहुंची, जहां यात्रियों ने भोजन किया और थोड़ी देर विश्राम किया। यहां पदयात्रियों का गर्मजोशी से स्वागत किया गया। पदयात्रा की ओर से स्वागतकर्ताओं -श्री पाल सिंह (प्रधान, बिहारी), अमर सिंह (जिला उपाध्यक्ष, समाजवादी पार्टी), एडवोकेट राजा राम पाल (पूर्व सांसद, कानपुर), देवनारायण पाल (एडवोकेट, जिला अध्यक्ष, आम आदमी पार्टी), और रोहित यादव (जिला सचिव, आम आदमी पार्टी) को सर्वोदय जगत पत्रिका, गांधी की आत्मकथा एवं सर्व सेवा संघ द्वारा प्रकाशित नई पुस्तक “आरोपों की आंधी में अडिग गांधी” भेंट की गई।  साथ ही नीलू पाल (फौजी), देवकरण पाल और सुमित पाल (प्रधान, ढाबा बिहारी) को भी यह किताबें भेंट की गईं।

रास्ते में विभिन्न संगठनों के साथी यात्रा से जुड़ते गए और कारवां आगे बढ़ता गया। यात्रा डीग, डेरापुर, देवीपुर होते हुए अगवासी, उरसान और कानपुर देहात बाज़ार में पहुंची, जहां पदयात्रियों ने “जिंदाबाद… ज़िंदाबाद… ज़िंदाबाद…”गीत प्रस्तुत किया।

विद्याधर मास्टर ने कहा कि आज की स्थिति में लोगों को एक होने की आवश्यकता है। हम जिस एकता की बात करते हैं, वह संपूर्ण भारत की दृष्टि में एक स्वस्थ प्रक्रिया है -वही गांधी का सिद्धांत है और बुद्ध की सादगी। आज के समय में आरएसएस जैसे सांप्रदायिक संगठन गांधी और देश की एकता पर हमला कर रहे हैं, धर्म के नाम पर लोगों को बांट रहे हैं, जिससे देश को भारी हानि हो रही है। हम यह यात्रा इसलिए लेकर निकले हैं ताकि समाज में सद्भावना, गरिमा और बंधुता बनी रहे, संविधान का पालन हो और लोकतंत्र को मजबूती मिले। स्वतंत्रता आंदोलन और गांधी की विरासत को हमें हर वर्ष मनाना चाहिए, न कि उनके हमलावरों को सत्ता देनी चाहिए।

क्षेत्र के पूर्व सांसद राजा राम पाल ने बाजार की जनता को संबोधित करते हुए कहा -“वाराणसी राजघाट से दिल्ली राजघाट तक चल रही यह यात्रा संविधान, सद्भावना, लोकतंत्र, स्वतंत्रता और जनता की विरासत को बचाने का प्रतीक है। देश के कोने-कोने से आए हुए महान विभूतियों और संकल्पधारियों ने गांधी की सद्भावना को लेकर यह पदयात्रा प्रारंभ की है।”

सर्व सेवा संघ के मंत्री अविनाश काकडे ने कहा कि वर्तमान सरकार तानाशाही रवैया अपना रही है और गांधी की विरासत पर लगातार हमला कर रही है। यह सरकार असंवैधानिक व्यवहार कर रही है, जिससे संविधान और लोकतंत्र को खतरा उत्पन्न हुआ है। हम संविधान को मानने वाले लोग यह खतरा कभी स्वीकार नहीं करेंगे। देश के विभिन्न राज्यों से आए हुए पदयात्री गांधी, आंबेडकर, भगत सिंह और स्वतंत्रता आंदोलन की विरासत को बचाने के लिए सड़कों पर उतरे हैं। ये लोग 1000 किलोमीटर की यात्रा करके दिल्ली राजघाट पहुंचेंगे। यह यात्रा युवाओं, किसानों, महिलाओं और उन सभी वंचित वर्गों के मुद्दों को उठाने के लिए निकली है जिन्हें मुख्यधारा से बाहर किया जा रहा है।

पदयात्रा आज अपने रात्रि पड़ाव सिल्हौला (कानपुर देहात) में शाम 05:30 बजे पहुंची, जहां पदयात्रियों का उत्साहपूर्वक स्वागत माला और अंगवस्त्र पहनाकर किया गया।

स्वागत करने वालों में प्रमुख थे – राजा राम पाल (पूर्व सांसद, कानपुर), राम सिंह यादव (जिला पंचायत अध्यक्ष, सपा), नीतम सचम (प्रदेश सचिव, सपा), अरविंद पांडे (पूर्व जिला उपाध्यक्ष, सपा), चरम सिंह यादव (जिला अध्यक्ष, कानपुर देहात), निहारिका (सामाजिक कार्यकर्ता, कानपुर) और अन्य स्थानीय साथी। पदयात्रियों को भोजन और विश्राम की व्यवस्था कराई गई।

यात्रा में शामिल प्रमुख प्रतिभागी:
चंदन पाल, अरविंद कुशवाहा, नंदलाल मास्टर, अरविंद अंजुम, सोमनाथ रोड़े, भूपेश भूषण, सतीश मराठा, गौरांग महापात्रा, ध्रुव भाई, अविनाश काकडे, सुमन, विद्याधर मास्टर, श्यामधर तिवारी, जगदीश कुमार, विकास, मानिकचंद, अनोखेलाल, जोखन यादव, सरिता बहन, सिस्टर फ्लोरीन, अलीभा, अंतर्यामी बराल, सौरभ, गौरव, निधि, सुमन, प्रवीण, दीक्षा, बृजेश, टैन, सचिन, हेतवी, सत्येंद्र सिंह, दीप नारायण, अशोक सिंह, मोनिका, निर्मला, ज्ञानेश्वर, बालासाहब मिसाल, सूरज माते, रामदास मानव, भागीरथी, अमर सिंह, तेजस्विता, जेबा, राधेश्याम, दिनेश कुमार, दलपत सिंह धुर्वे आदि।